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1. {योनातान पलिश्तियों पर आक्रमण करता है} PS उस दिन, शाऊल का पुत्र योनातान उस युवक से बात कर रहा था, जो उसके शस्त्रों को ले कर चलता था। योनातान ने कहा, “हम लोग घाटी की दूसरी ओर पलिश्तियों के डेरे पर चलें।” किन्तु योनातान ने अपने पिता को नहीं बताया। PEPS
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1. Now it came to pass H1961 upon a day H3117 , that Jonathan H3083 the son H1121 of Saul H7586 said H559 unto H413 the young man H5288 that bore H5375 his armor H3627 , Come H1980 , and let us go over H5674 to H413 the Philistines H6430 ' garrison H4673 , that H834 is on the other side H4480 H5676 H1975 . But he told H5046 not H3808 his father H1 .
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2. शाऊल एक अनार के पेड़ के नीचे पहाड़ी के सिरे *पहाड़ी का सिरा या “गिबा” का सिरा।” पर मिग्रोन में बैठा था। यह उस स्थान पर खलिहान के निकट था। शाऊल के साथ उस समय लगभग छः सौ योद्धा थे। एक व्यक्ति का नाम अहिय्याह था।
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2. And Saul H7586 tarried H3427 in the uttermost part H7097 of Gibeah H1390 under H8478 a pomegranate tree H7416 which H834 is in Migron H4051 : and the people H5971 that H834 were with H5973 him were about six H8337 hundred H3967 men H376 ;
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3. एली शीलो में यहोवा का याजक रह चुका था। अब वह अहिय्याह याजक था। अहिय्याह अब एपोद पहनता था। अहिय्याह ईकाबोद के भाई अहीतुब का पुत्र था। ईकाबोद पीनहास का पूत्र था। पीनहास एली का पुत्र था। PEPS
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3. And Ahiah H281 , the son H1121 of Ahitub H285 , Ichabod H350 's brother H251 , the son H1121 of Phinehas H6372 , the son H1121 of Eli H5941 , the LORD H3068 's priest H3548 in Shiloh H7887 , wearing H5375 an ephod H646 . And the people H5971 knew H3045 not H3808 that H3588 Jonathan H3083 was gone H1980 .
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4. दर्रे के दोनों ओर एक विशाल चट्टान थी। योनातान ने पलिश्ती डेरे में उस दर्रे से जाने की योजना बनाई। विशाल चट्टान के एक तरफ बोसेस था और उस विशाल चट्टान के दूसरी तरफ सेने था।
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4. And between H996 the passages H4569 , by which H834 Jonathan H3083 sought H1245 to go over H5674 unto H5921 the Philistines H6430 ' garrison H4673 , there was a sharp H8127 rock H5553 on the one H4480 H2088 side H4480 H5676 , and a sharp H8127 rock H5553 on the other H4480 H2088 side H4480 H5676 : and the name H8034 of the one H259 was Bozez H949 , and the name H8034 of the other H259 Seneh H5573 .
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5. एक विशाल चट्टान उत्तर की मिकमाश को देखती सी खड़ी थी। दूसरी विशाल चट्टान दक्षिण की तरफ गिबा की ओर देखती सी खड़ी थी। PEPS
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5. The forefront H8127 of the one H259 was situated H4690 northward H4480 H6828 over against H4136 Michmash H4363 , and the other H259 southward H4480 H5045 over against H4136 Gibeah H1387 .
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6. योनातान ने अपने उस युवक सहायक से कहा जो उस के शस्त्र को ले चलता था, “आओ, हम उन विदेशियों के डेरे में चले। संभव है यहोवा हम लोगों का उपयोग इन लोगों को पराजित करने में करे। यहोवा को कोई नहीं रोक सकता इससे कोई अन्तर नहीं पड़ता है कि हमारे पास बहुत से सैनिक हैं या थोड़े से सैनिक।” PEPS
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6. And Jonathan H3083 said H559 to H413 the young man H5288 that bore H5375 his armor H3627 , Come H1980 , and let us go over H5674 unto H413 the garrison H4673 of these H428 uncircumcised H6189 : it may be that H194 the LORD H3068 will work H6213 for us: for H3588 there is no H369 restraint H4622 to the LORD H3068 to save H3467 by many H7227 or H176 by few H4592 .
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7. योनातान के शस्त्र वाहक युवक ने उससे कहा, “जैसा तुम सर्वोत्तम समझो करो। मैं सब तरह से तुम्हारे साथ हूँ।” PEPS
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7. And his armorbearer H3627 H5375 said H559 unto him, Do H6213 all H3605 that H834 is in thine heart H3824 : turn H5186 thee; behold H2009 , I am with H5973 thee according to thy heart H3824 .
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8. योनातान ने कहा, “हम चले! हम लोग घाटी को पार करेंगे और उन पलिश्ती रक्षकों तक जायेंगे। हम लोग उन्हें अपने को देखने देंगे।
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8. Then said H559 Jonathan H3083 , Behold H2009 , we H587 will pass over H5674 unto H413 these men H376 , and we will discover ourselves H1540 unto H413 them.
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9. यदि वे हमसे कहते हैं ‘तुम वहीं रुको जब तक हम तुम्हारे पास आते हैं,’ तो हम लोग वहीं ठहरेंगे, जहाँ हम होंगे। हम उनके पास नहीं जायेंगे।
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9. If H518 they say H559 thus H3541 unto H413 us, Tarry H1826 until H5704 we come H5060 to H413 you ; then we will stand still H5975 in our place H8478 , and will not H3808 go up H5927 unto H413 them.
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10. किन्तु यदि पलिश्ती लोग यह कहते हैं, ‘हमारे पास आओ’ तो हम उनके पास तक चढ़ जायेंगे। क्यों? क्योंकि यह परमेश्वर की ओर से एक संकेत होगा। उसका अर्थ यह होगा कि यहोवा हम लोगों को उन्हें हराने देगा।” PEPS
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10. But if H518 they say H559 thus H3541 , Come up H5927 unto H5921 us ; then we will go up H5927 : for H3588 the LORD H3068 hath delivered H5414 them into our hand H3027 : and this H2088 shall be a sign H226 unto us.
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11. इसलिये योनातान और उसके सहायक ने अपने को पलिश्ती द्वारा देखने दिया। पलिश्ती रक्षकों ने कहा, “देखो हिब्रू उन गकों से निकल कर आ रहे हैं जिनमें वे छिपे थे।”
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11. And both H8147 of them discovered themselves H1540 unto H413 the garrison H4673 of the Philistines H6430 : and the Philistines H6430 said H559 , Behold H2009 , the Hebrews H5680 come forth H3318 out of H4480 the holes H2356 where H834 H8033 they had hid themselves H2244 .
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12. किले के पलिश्ती योनातान और उसके सहायक के लिये चिल्लाये “हमारे पास आओ। हम तुम्हें अभी पाठ पढ़ाते हैं!” PEPS योनातान ने अपने सहायक से कहा, “पहाड़ी के ऊपर तक मेरा अनुसरण करो। यहोवा ने इस्राएल के लिये पलिश्तियों को दे दिया है!” PEPS
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12. And the men H376 of the garrison H4675 answered H6030 H853 Jonathan H3083 and his armorbearer H3627 H5375 , and said H559 , Come up H5927 to H413 us , and we will show H3045 you a thing H1697 . And Jonathan H3083 said H559 unto H413 his armorbearer H3627 H5375 , Come up H5927 after H310 me: for H3588 the LORD H3068 hath delivered H5414 them into the hand H3027 of Israel H3478 .
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13. (13-14) इसलिये योनातान ने अपने हाथ और पैरों का उपयोग पहाड़ी पर चढ़ने के लिये किया। उसका सहायक ठीक उसके पीछे चढ़ा। योनातान और उसके सहायक ने उन पलिश्तियों को पराजित किया। पहले आक्रमण में उन्होंने लगभग आधे एकड़ क्षेत्र में बीस पलिश्तियों को मारा। योनातान उन लोगों से लड़ा जो सामने से आक्रमण कर रहे थे और योनातान का सहायक उसके पीछे से आया और उन व्यक्तियों को मारता चला गया जो अभी केवल घायल थे। PEPS
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13. And Jonathan H3083 climbed up H5927 upon H5921 his hands H3027 and upon H5921 his feet H7272 , and his armorbearer H3627 H5375 after H310 him : and they fell H5307 before H6440 Jonathan H3083 ; and his armorbearer H3627 H5375 slew H4191 after H310 him.
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26.
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15. सभी पलिश्ती सैनिक, रणक्षेत्र के सैनिक, डेरे के सैनिक और किले के सैनिक आतंकित हो गये। यहाँ तक की सर्वाधिक वीर योद्धा भी आतंकित हो गये। धरती हिलने लगी और पलिश्ती सैनिक भयानक ढंग से डर गये! PEPS
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15. And there was H1961 trembling H2731 in the host H4264 , in the field H7704 , and among all H3605 the people H5971 : the garrison H4673 , and the spoilers H7843 , they H1992 also H1571 trembled H2729 , and the earth H776 quaked H7264 : so it was H1961 a very great H430 trembling H2731 .
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16. शाऊल के रक्षकों ने बिन्यामीन देश में गिबा के पलिश्ती सैनिकों को विभिन्न दिशाओं में भागते देखा।
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16. And the watchmen H6822 of Saul H7586 in Gibeah H1390 of Benjamin H1144 looked H7200 ; and, behold H2009 , the multitude H1995 melted away H4127 , and they went H1980 on beating down H1986 one another .
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17. शाऊल ने अपने साथ की सेना से कहा, “सैनिकों को गिनो। मैं यह जानना चाहता हूँ कि डेरे को किसने छोड़ा।” PEPS उन्होंने सैनिकों को गिना। योनातान और उसका सहायक चले गये थे। PEPS
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17. Then said H559 Saul H7586 unto the people H5971 that H834 were with H854 him, Number H6485 now H4994 , and see H7200 who H4310 is gone H1980 from H4480 H5973 us . And when they had numbered H6485 , behold H2009 , Jonathan H3083 and his armorbearer H3627 H5375 were not H369 there .
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18. शाऊल ने अहिय्याह से कहा, “परमेश्वर की पवित्र सन्दूक लाओ!” (उस समय परमेश्वर का पवित्र सन्दूक इस्राएलियों के साथ था।)
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18. And Saul H7586 said H559 unto Ahiah H281 , Bring hither H5066 the ark H727 of God H430 . For H3588 the ark H727 of God H430 was H1961 at that H1931 time H3117 with the children H1121 of Israel H3478 .
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19. शाऊल याजक अहिय्याह से बातें कर रहा था। शाऊल परमेश्वर के मार्गदर्शन की प्रतीक्षा कर रहा था। किन्तु पलिश्ती डेरे में शोर और अव्यवस्था लगातार बढ़ती जा ही थी। शाऊल धैर्य खो रहा था। अन्त में शाऊल ने याजक अहिय्याह से कहा, “काफी हो चुका! अपने हाथ को नीचे करो और प्रार्थना करना बन्द करो!” PEPS
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19. And it came to pass H1961 , while H5704 Saul H7586 talked H1696 unto H413 the priest H3548 , that the noise H1995 that H834 was in the host H4264 of the Philistines H6430 went on H1980 and increased H1980 H7227 : and Saul H7586 said H559 unto H413 the priest H3548 , Withdraw H622 thine hand H3027 .
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20. शाऊल ने अपनी सेना इकट्ठी की और युद्ध में चला गया। पलिश्ती सैनिक सचमुच घबरा रहे थे! वे अपनी तलवारों से आपस में ही एक दूसरे से युद्ध कर रहे थे। PEPS
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20. And Saul H7586 and all H3605 the people H5971 that H834 were with H854 him assembled themselves H2199 , and they came H935 to H5704 the battle H4421 : and, behold H2009 , every man H376 's sword H2719 was H1961 against his fellow H7453 , and there was a very H3966 great H1419 discomfiture H4103 .
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21. वहाँ हिब्रू भी थे जो इसके पूर्व पलिश्तियों की सेवा में थे और जो पलिश्ती डेरे में रुके थे। किन्तु अब उन हिब्रुओं ने शाऊल और योनातान के साथ के इस्राएलों का साथ दिया।
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21. Moreover the Hebrews H5680 that were H1961 with the Philistines H6430 before H865 that time H8032 , which H834 went up H5927 with H5973 them into the camp H4264 from the country round about H5439 , even they H1992 also H1571 turned to be H1961 with H5973 the Israelites H3478 that H834 were with H5973 Saul H7586 and Jonathan H3083 .
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22. उन इस्राएलियों ने जो एप्रैम के पहाड़ी क्षेत्र में छिपे थे, पलिश्ती सैनिकों के भागने की बात सुनी। सो इन इस्राएलियों ने भी युद्ध में साथ दिया और पलिश्तियों का पीछा करना आरम्भ किया। PEPS
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22. Likewise all H3605 the men H376 of Israel H3478 which had hid themselves H2244 in mount H2022 Ephraim H669 , when they heard H8085 that H3588 the Philistines H6430 fled H5127 , even they H1992 also H1571 followed hard H1692 after H310 them in the battle H4421 .
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23. इस प्रकार यहोवा ने उस दिन इस्राएलियों की रक्षा की। युद्ध बतेवेन के परे पहुँच गया। सारी सेना शाऊल के साथ थी, उसके पास लगभग दस हजार पुरुष थे। एप्रैम के पहाड़ी प्रदेश के हर नगर मं युद्ध का विस्तार हो गया था। PS
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23. So the LORD H3068 saved H3467 H853 Israel H3478 that H1931 day H3117 : and the battle H4421 passed over H5674 unto H853 Beth H1007 -aven.
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24. {शाऊल दूसरी गलती करता है} PS किन्तु शाऊल ने उस दिन एक बड़ी गलती की। इस्राएली भूखे और थके थे। यह इसलिए हुआ कि शाऊल ने लोगों को यह प्रतिज्ञा करने को विवश कियाः शाऊल ने कहा, “यदि कोई व्यक्ति सन्ध्या होने से पहले भोजन करता है अथवा मेरे द्वारा शत्रु को पराजित करने के पहले भोजन करता है तो वह व्यक्ति दण्डित किया जाएगा!” इसलिए किसी भी इस्राएली सैनिक ने भोजन नहीं किया। PEPS
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24. And the men H376 of Israel H3478 were distressed H5065 that H1931 day H3117 : for Saul H7586 had adjured H422 H853 the people H5971 , saying H559 , Cursed H779 be the man H376 that H834 eateth H398 any food H3899 until H5704 evening H6153 , that I may be avenged H5358 on mine enemies H4480 H341 . So none H3808 H3605 of the people H5971 tasted H2938 any food H3899 .
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25. (25-26) युद्ध के कारण लोग जंगलों में चले गए। उन्होंने वहाँ भूमि पर पड़ा एक शहद का छत्ता देखा। इस्राएली उस स्थान पर आए जहाँ शहद का छत्ता था। लोग भूखे थे, किन्तु उन्होंने तनिक भी शहद नहीं पिया। वे उस प्रतिज्ञा को तोड़ने से भयभीत थे।
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25. And all H3605 they of the land H776 came H935 to a wood H3293 ; and there was H1961 honey H1706 upon H5921 H6440 the ground H7704 .
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27. किन्तु योनातान उस प्रतिज्ञा के बारे में नहीं जानता था। योनातान ने यह नहीं सुना था कि उसके पिता ने उस प्रतिज्ञा को करने के लिये लोगों को विवश किया है। योनातान के हाथ में एक छड़ी थी। उसने शहद के छत्ते में उसके सिरे को धंसाया। उसने कुछ शहद निकाला और उसे चाटा और उसने अपने को स्वस्थ अनुभव किया। PEPS
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27. But Jonathan H3083 heard H8085 not H3808 when his father H1 charged the people with the oath H7650 H853 H5971 : wherefore he put forth H7971 H853 the end H7097 of the rod H4294 that H834 was in his hand H3027 , and dipped H2881 it H853 in a honeycomb H3295 H1706 , and put H7725 his hand H3027 to H413 his mouth H6310 ; and his eyes H5869 were enlightened H215 .
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28. सैनिकों में से एक ने योनातान से कहा, “तुम्हारे पिता ने एक विशेष प्रतिज्ञा करने के लिये सैनिकों को विवश किया है। तुम्हारे पिता ने कहा है कि जो कोई आज खायेगा, दण्डित होगा। यही कारण है कि पुरुषों ने कुछ भी खाया नहीं। यही कारण है कि पुरुष कमजोर हैं।” PEPS
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28. Then answered H6030 one H376 of the people H4480 H5971 , and said H559 , Thy father H1 straitly charged the people with an oath H7650 H7650 H853 H5971 , saying H559 , Cursed H779 be the man H376 that H834 eateth H398 any food H3899 this day H3117 . And the people H5971 were faint H5888 .
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29. योनातान ने कहा, “मेरे पिता ने लोगों के लिये परेशानी उत्पन्न की है! देखो इस जरा से शहद को चाटने से मैं कितना स्वस्थ अनुभव कर रहा हूँ!
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29. Then said H559 Jonathan H3083 , My father H1 hath troubled H5916 H853 the land H776 : see H7200 , I pray you H4994 , how H3588 mine eyes H5869 have been enlightened H215 , because H3588 I tasted H2938 a little H4592 of this H2088 honey H1706 .
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30. बहुत अच्छा होता कि लोग वह भोजन करते जो उन्होंने आज शत्रुओं से लिया था। हम बहुत अधिक पलिश्तियों को मार सकते थे!” PEPS
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30. How much more H637 H3588 , if haply H3588 H3863 the people H5971 had eaten freely H398 H398 today H3117 of the spoil H4480 H7998 of their enemies H341 which H834 they found H4672 ? for H3588 had there not H3808 been now H6258 a much greater H7235 slaughter H4347 among the Philistines H6430 ?
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31. उस दिन इस्राएलियों ने पलिश्तियों को हराया। वे उनसे मिकमाश से अय्यालोन तक के पूरे मार्ग पर लड़े। क्योकि लोग बहुत भूके और थके हुए थे।
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31. And they smote H5221 the Philistines H6430 that H1931 day H3117 from Michmash H4480 H4363 to Aijalon H357 : and the people H5971 were very H3966 faint H5888 .
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32. उन्होंने पलिश्तियों से भेड़ें, गायें और बछड़े लिये थे। उस समय इस्राएल के लोग इतने भूखे थे कि उन्होंने उन जानवरों को जमीन पर ही मारा और उन्हें खाया। जानवरों में तब तक खून था! PEPS
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32. And the people H5971 flew H6213 upon H413 the spoil H7998 , and took H3947 sheep H6629 , and oxen H1241 , and calves H1121 H1241 , and slew H7819 them on the ground H776 : and the people H5971 did eat H398 them with H5921 the blood H1818 .
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33. एक व्यक्ति ने शाऊल से कहा, “देखो! लोग यहोवा के विरुद्ध पाप कर रहे हैं। वे ऐसा माँस खा रहे हैं जिसमें खून है!” PEPS शाऊल ने कहा, “तुम लोगों ने पाप किया है! यहाँ एक विशान पत्थर लुढ़काकर लाओ।”
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33. Then they told H5046 Saul H7586 , saying H559 , Behold H2009 , the people H5971 sin H2398 against the LORD H3068 , in that they eat H398 with H5921 the blood H1818 . And he said H559 , Ye have transgressed H898 : roll H1556 a great H1419 stone H68 unto H413 me this day H3117 .
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34. तब शाऊल ने कहा, “लोगों के पास जाओ और कहो कि हर एक व्यक्ति अपना बैल और भेड़ें मेरे पास यहाँ लाये। तब लोगों को अपने बैल और भेड़ें यहाँ मारनी चाहिये। यहोवा के विरुद्ध पाप मत करो। वह माँस न खाओ जिसमें खून हो।” PEPS उस रात हर एक व्यक्ति अपने जानवरों को लाया और उन्हें वहाँ मारा।
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34. And Saul H7586 said H559 , Disperse yourselves H6327 among the people H5971 , and say H559 unto them , Bring me hither H5066 H413 every man H376 his ox H7794 , and every man H376 his sheep H7716 , and slay H7819 them here H2088 , and eat H398 ; and sin H2398 not H3808 against the LORD H3068 in eating H398 with H413 the blood H1818 . And all H3605 the people H5971 brought H5066 every man H376 his ox H7794 with H3027 him that night H3915 , and slew H7819 them there H8033 .
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35. तब शाऊल ने यहोवा के लिये एक वेदी बनाई। शाऊल ने यहोवा के लिये स्वयं वह वेदी बनानी आरम्भ की! PEPS
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35. And Saul H7586 built H1129 an altar H4196 unto the LORD H3068 : the same was the first H2490 altar H4196 that he built H1129 unto the LORD H3068 .
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36. शाऊल ने कहा, “हम लोग आज रात को पलिश्तियों का पीछा करें। हम लोग हर वस्तु ले लेंगे। हम उन सभी को मार डालेंगे।” PEPS सेना ने उत्तर दिया, “वैसे ही करो जैसे तुम ठीक समझते हो।” PEPS किन्तु याजक ने कहा, “हमें परमेश्वर से पूछने दो।” PEPS
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36. And Saul H7586 said H559 , Let us go down H3381 after H310 the Philistines H6430 by night H3915 , and spoil H962 them until H5704 the morning H1242 light H216 , and let us not H3808 leave H7604 a man H376 of them . And they said H559 , Do H6213 whatsoever H3605 seemeth H5869 good H2896 unto thee . Then said H559 the priest H3548 , Let us draw near H7126 hither H1988 unto H413 God H430 .
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37. अत: शाऊल ने परमेश्वर से पूछा, “क्या मुझे पलिश्तियों का पीछा करने जाना चाहिए? क्या तू हमें पलिश्तियों को हराने देगा?” किन्तु परमेश्वर ने शाऊल को उस दिन उत्तर नहीं दिया। PEPS
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37. And Saul H7586 asked counsel H7592 of God H430 , Shall I go down H3381 after H310 the Philistines H6430 ? wilt thou deliver H5414 them into the hand H3027 of Israel H3478 ? But he answered H6030 him not H3808 that H1931 day H3117 .
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38. इसलिए शाऊल ने कहा, “मेरे पास सभी प्रमुखों को लाओ। हम लोग मालूम करें कि आज किसने पाप किया है।
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38. And Saul H7586 said H559 , Draw ye near H5066 hither H1988 , all H3605 the chief H6438 of the people H5971 : and know H3045 and see H7200 wherein H4100 this sin H2403 hath been H1961 this H2063 day H3117 .
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39. मैं इस्राएल की रक्षा करने वाले यहोवा की शपथ खा कर यह प्रतिज्ञा करता हूँ। यदि मेरे अपने पुत्र योनातान ने भी पाप किया हो तो वह अवश्य मरेगा।” सेना में किसी ने भी कुछ नहीं कहा। PEPS
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39. For H3588 , as the LORD H3068 liveth H2416 , which saveth H3467 H853 Israel H3478 , though H3588 H518 it be H3426 in Jonathan H3083 my son H1121 , he shall surely die H4191 H4191 . But there was not a man H369 among all H4480 H3605 the people H5971 that answered H6030 him.
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40. तब शाऊल ने सभी इस्राएलियों से कहा, “तुम लोग इस ओर खड़े हो। मैं और मेरा पुत्र योनातान दूसरी ओर खड़े होगें।” PEPS सैनिकों ने उत्तर दिया, “महाराज आप जैसा चाहें।” PEPS
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40. Then said H559 he unto H413 all H3605 Israel H3478 , Be H1961 ye H859 on one H259 side H5676 , and I H589 and Jonathan H3083 my son H1121 will be H1961 on the other H259 side H5676 . And the people H5971 said H559 unto H413 Saul H7586 , Do H6213 what seemeth H5869 good H2896 unto thee.
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41. तब शाऊल ने प्रार्थना की, “इस्राएल के परमेश्वर यहोवा, मैं तेरा सेवक हूँ आज तू मुझे उत्तर क्यों नहीं दे रहा है? यदि मैंने या मेरे पुत्र योनातान ने पाप किया है तो इस्राएल के परमेश्वर यहोवा तू उरीम दे और यदि तेरे लोग इस्राएलियों ने पाप किया है तो तुम्मिम दें।” PEPS शाऊल और योनातान धर लिए गए और लोग छूट गए।
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41. Therefore Saul H7586 said H559 unto H413 the LORD H3068 God H430 of Israel H3478 , Give H3051 a perfect H8549 lot . And Saul H7586 and Jonathan H3083 were taken H3920 : but the people H5971 escaped H3318 .
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42. शाऊल ने कहा, “उन्हें फिर से फेंको कि कौन पाप करने वाला है मैं या मेरा पुत्र योनातान।” योनातान चुन लिया गया। PEPS
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42. And Saul H7586 said H559 , Cast H5307 lots between H996 me and Jonathan H3083 my son H1121 . And Jonathan H3083 was taken H3920 .
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43. शाऊल ने योनातान से कहा, “मुझे बताओ कि तुमने क्या किया है?” PEPS योनातान ने शाऊल से कहा, “मैंने अपनी छड़ी के सिरे से केवल थोड़ा सा शहद चाटा था। क्या मुझे वह करने के कारण मरना चाहिये?” PEPS
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43. Then Saul H7586 said H559 to H413 Jonathan H3083 , Tell H5046 me what H4100 thou hast done H6213 . And Jonathan H3083 told H5046 him , and said H559 , I did but taste H2938 H2938 a little H4592 honey H1706 with the end H7097 of the rod H4294 that H834 was in mine hand H3027 , and , lo H2009 , I must die H4191 .
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44. शाऊल ने कहा, “यदि मैं अपनी प्रतिज्ञा पूरा नहीं करता हूँ तो परमेश्वर मेरे लिये बहुत बुरा करे। योनातान को मरना चाहिये!” PEPS
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44. And Saul H7586 answered H559 , God H430 do H6213 so H3541 and more H3254 also H3541 : for H3588 thou shalt surely die H4191 H4191 , Jonathan H3083 .
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45. किन्तु सैनिकों ने शाऊल से कहा, “योनातान ने आज इस्राएल को बड़ी विजय तक पहुँचाया। क्या योनातान को मरना ही चाहिए? कभी नहीं! हम लोग परमेश्वर की शपथ खाकर वचन देते हैं कि योनातान का एक बाल भी बाँका नहीं होगा। परमेश्वर ने आज पलिश्तियों के विरुद्ध लड़ने में योनातान की सहायता की है!” इस प्रकार लोगों ने योनातान को बचाया। उसे मृत्यदणड नहीं दिया गया। PEPS
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45. And the people H5971 said H559 unto H413 Saul H7586 , Shall Jonathan H3083 die H4191 , who H834 hath wrought H6213 this H2063 great H1419 salvation H3444 in Israel H3478 ? God forbid H2486 : as the LORD H3068 liveth H2416 , there shall not H518 one hair H4480 H8185 of his head H7218 fall H5307 to the ground H776 ; for H3588 he hath wrought H6213 with H5973 God H430 this H2088 day H3117 . So the people H5971 rescued H6299 H853 Jonathan H3083 , that he died H4191 not H3808 .
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46. शाऊल ने पलिश्तियों का पीछा नहीं किया। पलिश्ती अपने स्थान को लौट गये। PS
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46. Then Saul H7586 went up H5927 from following H4480 H310 the Philistines H6430 : and the Philistines H6430 went H1980 to their own place H4725 .
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47. {शाऊल का इस्राएल के शत्रुओं से युद्ध} PS शाऊल ने इस्राएल पर पूरा अधिकार जमा लिया और दिखा दिया कि वह राजा है। शाऊल इस्राएल के चारों ओर रहने वाले शत्रुओं से लड़ा। शाऊल, अम्मोनी, मोआबी, सोबा के राजा एदोम और पलिश्तियों से लड़ा। जहाँ कहीं शाऊल गया, उसने इस्राएल के शत्रुओं को पराजित किया।
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47. So Saul H7586 took H3920 the kingdom H4410 over H5921 Israel H3478 , and fought H3898 against all H3605 his enemies H341 on every side H5439 , against Moab H4124 , and against the children H1121 of Ammon H5983 , and against Edom H123 , and against the kings H4428 of Zobah H6678 , and against the Philistines H6430 : and whithersoever H3605 H834 he turned H6437 himself , he vexed H7561 them .
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48. शाऊल बहुत वीर था। उसने अमालेकियों को हराया। शाऊल ने इस्राएल को उसके उन शत्रुओं से बचाया जो इस्राएल के लोगों से उनकी सम्पत्ति छीन लेना चाहते थे। PEPS
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48. And he gathered H6213 a host H2428 , and smote H5221 H853 the Amalekites H6002 , and delivered H5337 H853 Israel H3478 out of the hands H4480 H3027 of them that spoiled H8154 them.
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49. शाऊल के पुत्र थे योनातान, यिशवी और मलकीश। शाऊल की बड़ी पुत्री का नाम मेरब था। शाऊल की छोटी पुत्री का नाम मीकल था।
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49. Now the sons H1121 of Saul H7586 were H1961 Jonathan H3083 , and Ishui H3440 , and Melchi H4444 -shua : and the names H8034 of his two H8147 daughters H1323 were these ; the name H8034 of the firstborn H1067 Merab H4764 , and the name H8034 of the younger H6996 Michal H4324 :
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50. शाऊल की पत्नी का नाम अहीनोअम था। अहीनोअम अहीमास की पुत्री थी। PEPS शाऊल की सेना के सेनापति का नाम अब्नेर था, जो नेर का पुत्र था। नेर शाऊल का चाचा था।
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50. And the name H8034 of Saul H7586 's wife H802 was Ahinoam H293 , the daughter H1323 of Ahimaaz H290 : and the name H8034 of the captain H8269 of his host H6635 was Abner H74 , the son H1121 of Ner H5369 , Saul H7586 's uncle H1730 .
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51. शाऊल का पिता कीश और अब्नेर का पिता नेर, अबीएल के पुत्र थे। PEPS
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51. And Kish H7027 was the father H1 of Saul H7586 ; and Ner H5369 the father H1 of Abner H74 was the son H1121 of Abiel H22 .
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52. शाऊल अपने जीवन भर वीर रहा और पलिश्तियों के विरुद्ध दृढ़ता से लड़ा। शाऊल जब भी कभी किसी व्यक्ति को ऐसा वीर देखता जो शक्तिशाली होता तो वह उसे ले लेता और उसे उन सैनिकों की टुकड़ी में रखता जो उसके समीप रहते और उसकी रक्षा करते थे। PE
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52. And there was H1961 sore H2389 war H4421 against H5921 the Philistines H6430 all H3605 the days H3117 of Saul H7586 : and when Saul H7586 saw H7200 any H3605 strong H1368 man H376 , or any H3605 valiant H2428 man H1121 , he took H622 him unto H413 him.
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