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1. {प्रथम फसल के बारे में नियम} PS “तुम शीघ्र ही उस देश में प्रवेश करोगे जिसे यहोवा तुम्हारा परमेंश्वर तुम्हें रहने के लिये दे रहा है। जब तुम वहाँ अपने घर बना लो
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1. And it shall be H1961 , when H3588 thou art come in H935 unto H413 the land H776 which H834 the LORD H3068 thy God H430 giveth H5414 thee for an inheritance H5159 , and possessest H3423 it , and dwellest H3427 therein;
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2. तब तुम्हें अपनी थोड़ी सी प्रथम फसल लेनी चाहिए और उसे एक टोकरी में रखना चाहिये। वह प्रथम फसल होगी जिसे तुम उस देश से पाओगे जिसे यहोवा तुम्हारा परमेश्वर तुम्हें दे रहा है। थोड़ी प्रथम फसल वाली टोकरी को लो और उस स्थान पर जाओ जिसे यहोवा तुम्हारा परमेश्वर चुनेगा।
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2. That thou shalt take H3947 of the first H4480 H7225 of all H3605 the fruit H6529 of the earth H127 , which H834 thou shalt bring H935 of thy land H4480 H776 that H834 the LORD H3068 thy God H430 giveth H5414 thee , and shalt put H7760 it in a basket H2935 , and shalt go H1980 unto H413 the place H4725 which H834 the LORD H3068 thy God H430 shall choose H977 to place H7931 his name H8034 there H8033 .
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3. उस समय सेवा करने वाले याजक के पास तुम जाओगे। तुम्हें उससे कहना चाहिए, ‘आज मैं यहोवा अपने परमेश्वर के सामने यह घोषित करता हूँ कि हम उस देश में आ गए हैं जिसे यहोवा ने हम लोगों को देने के लिये हमारे पूर्वजों को वचन दिया था।’ PEPS
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3. And thou shalt go H935 unto H413 the priest H3548 that H834 shall be H1961 in those H1992 days H3117 , and say H559 unto H413 him , I profess H5046 this day H3117 unto the LORD H3068 thy God H430 , that H3588 I am come H935 unto H413 the country H776 which H834 the LORD H3068 swore H7650 unto our fathers H1 for to give H5414 us.
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4. “तब याजक टोकरी को तुम्हारे हाथ से लेगा। वह इसे यहोवा तुम्हारे परमेश्वर की वेदी के सामने रखेगा।
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4. And the priest H3548 shall take H3947 the basket H2935 out of thine hand H4480 H3027 , and set it down H5117 before H6440 the altar H4196 of the LORD H3068 thy God H430 .
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5. तब तुम यहोवा अपने परमेश्वर के सामने यह कहोगे: मेरा पूर्वज घुमक्कड़ अरामी था। वह मिस्र पहुँचा और वहाँ रहा। जब वह वहाँ गया तब उसके परिवार में बहुत कम लोग थे। किन्तु मिस्र में वह एक शक्तिशाली बहुत से व्यक्तियों वाला महान राष्ट्र बन गया।
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5. And thou shalt speak H6030 and say H559 before H6440 the LORD H3068 thy God H430 , A Syrian H761 ready to perish H6 was my father H1 , and he went down H3381 into Egypt H4714 , and sojourned H1481 there H8033 with a few H4692 H4592 , and became H1961 there H8033 a nation H1471 , great H1419 , mighty H6099 , and populous H7227 :
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6. मिस्रियों ने हम लोगों के साथ बुरा व्यवहार किया।
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6. And the Egyptians H4713 evil entreated H7489 us , and afflicted H6031 us , and laid H5414 upon H5921 us hard H7186 bondage H5656 :
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7. तब हम लोगों ने यहोवा अपने पूर्वजों के परमेश्वर से प्रार्थना की और उसके बारे में शिकायत की। यहोवा ने हमारी सुनी उसने हम लोगों की परेशानियाँ, हमारे कठोर कार्य और कष्ट देखे।
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7. And when we cried H6817 unto H413 the LORD H3068 God H430 of our fathers H1 , the LORD H3068 heard H8085 H853 our voice H6963 , and looked on H7200 H853 our affliction H6040 , and our labor H5999 , and our oppression H3906 :
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8. तब यहोवा हम लोगों को अपनी प्रबल शक्ति और दृढ़ता से मिस्र से बाहर लाया। उसने महान चमत्कारों और आश्चर्यों का उपयोग किया। उसने भंयकर घटनाएँ घटित होने दीं।
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8. And the LORD H3068 brought us forth H3318 out of Egypt H4480 H4714 with a mighty H2389 hand H3027 , and with an outstretched H5186 arm H2220 , and with great H1419 terribleness H4172 , and with signs H226 , and with wonders H4159 :
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9. इस प्रकार वह हम लोगों को इस स्थान पर लाया। उसने अच्छी चीजों से भरा—पूरा *भरा—पूरा दूध तथा शहद बहता था। देश हमें दिया।
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9. And he hath brought H935 us into H413 this H2088 place H4725 , and hath given H5414 us H853 this H2063 land H776 , even a land H776 that floweth H2100 with milk H2461 and honey H1706 .
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10. यहोवा, अब मैं उस देश की प्रथम फसल तेरे पास लाया हूँ जिसे तूने हमें दिया है। PEPS “तब तुम्हें फसल को यहोवा अपने परमेश्वर के सामने रखना चाहिए और तुम्हें उसकी उपासना करनी चाहिए।
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10. And now H6258 , behold H2009 , I have brought H935 H853 the firstfruits H7225 H6529 of the land H127 , which H834 thou , O LORD H3068 , hast given H5414 me . And thou shalt set H5117 it before H6440 the LORD H3068 thy God H430 , and worship H7812 before H6440 the LORD H3068 thy God H430 :
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11. तब तुम उन सभी चीज़ों का आनन्द से उपभोग कर सकते हो जिसे यहोवा तुम्हारे परमेश्वर ने तुम्हें और तुम्हारे परिवार को दिया है। लेवीवंशी और वे विदेशी जो तुम्हारे बीच रहते हैं तुम्हारे साथ इन चीजों का आनन्द ले सकते हैं। PEPS
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11. And thou shalt rejoice H8055 in every H3605 good H2896 thing which H834 the LORD H3068 thy God H430 hath given H5414 unto thee , and unto thine house H1004 , thou H859 , and the Levite H3881 , and the stranger H1616 that H834 is among H7130 you.
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12. “जब तुम सारा दशमांश जो तीसरे वर्ष (दशमांश का वर्ष) तुम्हारी फ़सल का दिया जाना है, दे चुको तब तुम्हें लेवीवंशियों, विदेशियों, अनाथों और विधवाओं को इसे देना चाहिए। तब हर एक नगर में वे खा सकते हैं और सन्तुष्ट किये जा सकते हैं।
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12. When H3588 thou hast made an end H3615 of tithing H6237 H853 all H3605 the tithes H4643 of thine increase H8393 the third H7992 year H8141 , which is the year H8141 of tithing H4643 , and hast given H5414 it unto the Levite H3881 , the stranger H1616 , the fatherless H3490 , and the widow H490 , that they may eat H398 within thy gates H8179 , and be filled H7646 ;
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13. तुम यहोवा अपने परमेश्वर से कहोगे, ‘मैंने अपने घर से अपनी फसल का पवित्र भाग दशमांश बाहर निकाल दिया है। मैंने इसे उन सभी लेवीवंशियों, विदेशियों, अनाथों और विधवाओं को दे दिया है। मैंने उन सभी आदेशों का पालन करने से इन्कार नहीं किया है। मैं उन्हें भूला नहीं हूँ।
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13. Then thou shalt say H559 before H6440 the LORD H3068 thy God H430 , I have brought away H1197 the hallowed things H6944 out of H4480 mine house H1004 , and also H1571 have given H5414 them unto the Levite H3881 , and unto the stranger H1616 , to the fatherless H3490 , and to the widow H490 , according to all H3605 thy commandments H4687 which H834 thou hast commanded H6680 me : I have not H3808 transgressed H5674 thy commandments H4480 H4687 , neither H3808 have I forgotten H7911 them :
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14. मैंने यह भोजन तब नहीं किया जब मैं शोक मना रहा था। मैंने इस अन्न को तब अलग नहीं किया जब मैं अपवित्र था। मैंने इस अन्न में से कोई भाग मरे व्यक्ति के लिये नहीं दिया है। मैंने यहोवा, मेरे परमेश्वर, तेरी आज्ञाओं का पालन किया है। मैंने वह सब कुछ किया है जिसके लिये तूने आदेश दिया है।
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14. I have not H3808 eaten H398 thereof H4480 in my mourning H205 , neither H3808 have I taken away H1197 aught thereof H4480 for any unclean H2931 use , nor H3808 given H5414 aught thereof H4480 for the dead H4191 : but I have hearkened H8085 to the voice H6963 of the LORD H3068 my God H430 , and have done H6213 according to all H3605 that H834 thou hast commanded H6680 me.
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15. तू अपने पवित्र आवास स्वर्ग से नीचे निगाह डाल और अपने लोगों, इस्राएलियों को आशीर्वाद दे और तू उस देश को आशीर्वाद दे जिसे तूने हम लोगों को वैसा ही दिया है जैसा तूने हमारे पूर्वजों को अच्छी चीज़ों से भरा—पूरा देश देने का वचन दिया था।’ PS
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15. Look down H8259 from thy holy H6944 habitation H4480 H4583 , from H4480 heaven H8064 , and bless H1288 H853 thy people H5971 H853 Israel H3478 , and the land H127 which H834 thou hast given H5414 us, as H834 thou sworest H7650 unto our fathers H1 , a land H776 that floweth H2100 with milk H2461 and honey H1706 .
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16. {यहोवा के आदेशों पर चलो} PS “आज यहोवा तुम्हारा परमेश्वर तुमको आदेश देता है कि तुम इन सभी विधियों और नियमों का पालन करो। अपने पूरे हृदय और अपनी पूरी आत्मा से इनका पालन करने के लिये सावधान रहो।
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16. This H2088 day H3117 the LORD H3068 thy God H430 hath commanded H6680 thee to do H6213 H853 these H428 statutes H2706 and judgments H4941 : thou shalt therefore keep H8104 and do H6213 them with all H3605 thine heart H3824 , and with all H3605 thy soul H5315 .
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17. आज तुमने यह कहा है कि यहोवा तुम्हारा परमेश्वर है। तुम लोगों ने वचन दिया है तुम उसके मार्ग पर चलोगे, उसके उपदेशों को मानोगे, और उसके नियमों और आदेशों को मानोगे। तुमने कहा है कि तुम वह सब कुछ करोगे जिसे करने के लिये वह कहता है।
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17. Thou hast avouched H559 H853 the LORD H3068 this day H3117 to be H1961 thy God H430 , and to walk H1980 in his ways H1870 , and to keep H8104 his statutes H2706 , and his commandments H4687 , and his judgments H4941 , and to hearken H8085 unto his voice H6963 :
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18. आज योहवा ने तुम्हें अपने लोग चुन लिया और अपना मूल्यवान आश्रय प्रदान करने का वचन भी दिया है। यहोवा ने यह कहा है कि तुम्हें उसके सभी आदेशों का पालन करना चाहिए।
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18. And the LORD H3068 hath avouched H559 thee this day H3117 to be H1961 his peculiar H5459 people H5971 , as H834 he hath promised H1696 thee , and that thou shouldest keep H8104 all H3605 his commandments H4687 ;
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19. यहोवा तुम्हें उन सभी राष्ट्रों से महान बनाएगा जिन्हें उसने बनाया है। वह तुमको प्रशंसा, यश और गौरव देगा और तुम उसके विशेष लोग होगे, जैसा उसने वचन दिया है।” PE
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19. And to make H5414 thee high H5945 above H5921 all H3605 nations H1471 which H834 he hath made H6213 , in praise H8416 , and in name H8034 , and in honor H8597 ; and that thou mayest be H1961 a holy H6918 people H5971 unto the LORD H3068 thy God H430 , as H834 he hath spoken H1696 .
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